Ministry of Law and Justice
नईदिल्ली। आने वाले लोकसभा चुनावों में उम्मीदवारों को अपनी पांच साल के आयकर रिटर्न का विवरण देना होगा तथा साथ ही उन्हें शपथपत्र में विदेशों में अपनी संपत्ति और जमा का ब्योरा भी देना होगा। यह नियम इन चुनावों में ही लागू हो जाएगा।
कानून और न्याय मंत्रालय द्वारा अधिसूचित किए गए चुनाव संचालन (संशोधन) नियम, 2019 में यह कहा गया है। इसके साथ ही अब फार्म 26 फार्मेट बदल दिया गया है जिसमें उम्मीदवार को अपनी संपत्ति, दायित्व, शैक्षणिक योग्यता तथा आपराधिक मामलों की जानकारी देनी पड़ती है।
इससे पूर्व उम्मीदवार को फार्म 26 में सिर्फ अपनी, पत्नी और निर्भरों की आयकर का ब्योरा देना पड़ता था। लेकिन अब संशोधित नियम के अनुसार फार्म 26 में पांच साल का रिटर्न दायर करना होगा तथा विदेश में यदि कोई संपत्ति है तो उसका ब्योरा भी देना होगा। कानून मंत्रालय की अधिसूचना के अनुसार इसमें विदेशी बैंकों में जमा पूंजी और वहां किया गए निवेश की जानकारी भी शामिल होगा। यह घोषणा सिर्फ उम्मीदवार तक ही सीमित नहीं रहेगी बल्कि उन्हें अपनी पत्नी की आय का ब्योरा भी देना होगा। वहीं यदि उम्मीदवार हिन्दु संयुक्त परिवार का कर्ता है तो भी उसे यह ब्योरा देना आवश्यक होगा।
गौरतलब है कि गत वर्ष सितंबर में सुप्रीम कोर्ट ने कई आदेश दिए थे जिसमें उम्मीदवारों को अपने आपराधिक पृष्ठभूमि का ब्योरे संबंधी शपथपत्र देने के लिए निर्देश दिए गए थे। कोर्ट ने कहा था कि यदि कोई आपराधिक मुकदमा लंबित है तो शपथपत्र में उसे मोटे अक्षरों में लिखना होगा। साथ ही राजनैतिक दल को उम्मीदवारों के आपराधिक रिकार्ड को उचित रूप से बड़े प्रचार वाले अखबारों में प्रचारित करना होगा। कोर्ट ने यह निर्देश देते हुए आपराधिक पृष्ठभूमि के ऐसे लोगों जिनके खिलाफ आरोप तय हो गए हों, को चुनाव से प्रतिबंधित करने से मना कर दिया था।
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