मुंबई। मुंबई विमान हादसे की शिकार मारिया जुबैरी के पिता का दावा है कि
मारिया देश की पहली मुस्लिम महिला पायलट थीं। हादसे के बाद कुछ अखबारों व न्यूज वेबसाइट पर मारिया को देश की पहली महिला पायलट बताया गया। जिसके बाद देश की पहली मुस्लिम महिला पायलट के दावे पर विवाद शुरू हो गया है। एक ओर इलाहबाद में मारिया के परिजन हैं तो दूसरी ओर बेंगलुरु की सारा हमीद अहमद के।
मुंबई विमान हादसे के बाद ही बेंगलुरु की सारा का नाम बतौर पहली मुस्लिम महिला पायलट होने की खबर सामने आई। वर्ष 2015 में सारा के पायलट बनने के बाद ये खबर सुर्खियों में थी कि वे देश की पहली मुस्लिम महिला पायलट हैं। सारा से जुड़े जानकारों का कहना है कि सारा ने 2007 में अमेरिका में कॉर्मिशियल पायलट की ट्रेनिंग ली थी। अभी वे बतौर कॉर्मिशियल पायलट कार्यरत हैं।
रायबरेली में मारिया की हुई थी ट्रेनिंग,
सेंट मैरीज से दसवीं पास कर मारिया ने क्रॉस्थवेट से इंटर की पढ़ाई की। इसके बाद इलाहाबाद विश्वविद्यालय से मारिया ने बीएससी की पढ़ाई की। बीएससी के बाद मारिया ने रायबरेली की इंदिरा गांधी उड़ान एकेडमी से पायलट की ट्रेनिंग पूरी की थी। पिता डॉ. इकबाल ने बताया कि मारिया एयर एशिया समेत कई एयरलाइंस में रह चुकी है। कुछ समय पहले ही उन्होंने यूवाई एविएशन प्राईवेट लिमिटेड ज्वाइन की थी। यह कंपनी चार्टर प्लेन की है। इससे पहले मारिया ताज एयरवेज में भी रह चुकी हैं।
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