आज शाम पांच बजे के करीब घर पे बैठा चाय की चुस्कियां ले रहा था कि अचानक मेरे एक पत्रकार साथी का फोन आया।
फोन रिसीव करते ही मेरे कान खड़े हो गए, फोन करने वाले पत्रकार मित्र ने बताया कि कौसा के रशीद कम्पाउंड के शादाब चाल का रहवासी अय्यूब अली इनायत जाफ़री की जेजे अस्पताल में ठाणे सेंट्रोल जेल प्रशासन की हिरासत में मौत हो गई। अय्यूब ईरानी की मौत की खबर से पूरे ईरानी क़बीले में मातम छा गया।
फोन पर इतनी बात करने के बाद मैं खुद ईरानी मोहल्ले में पहुँच गया। जहां मृतक अय्यूब का पूरा भरा परिवार दहाड़े मार मार कर बिलक बिलक के रो रहा था।
अय्यूब की माँ और पत्नी ने मुझे बताया कि 31 दिसम्बर यानी नये साल के एक दिन पहले शाम करीब 8 बजे कुछ पोलिस के जवान आये और अय्यूब को उठा ले गए। बताते है कि उसे गांजा के केस में उठाया था, लेकिन उस दिन से आज तक अय्यूब को पोलिस ने हम लोगो से मिलने नही दिया, और 10 दिन पहले ये पता चला की जेल में उसकी हालत खराब हो गई जिस वजह से उसे जेजे अस्पताल भर्ती कराया गया है।और आज उसके मौत की खबर मिली।
अय्यूब का पोस्ट मार्टम जेजे में ही होने के बाद उसे आज रात ही तनवर नगर कब्रस्तान में दफनाया जायगा।
अय्यूब की मौत कैसे हुई?
इसकी जानकारी अगर मजिस्ट्रेट जांच की गई तो पता चलेगा। फिलहाल एसडीएम स्तर के अधिकारी की मौजूदगी में पोस्टमार्टम कराया जा रहा है।बताते हैं अय्यूब की दोनों किडनी खराब हो गई थी। फिर भी इस मामले में ठाणे जेल के कुछ सिपाही और अधिकारी कटघरे में खड़े दिखाई दे रहे हैं?
खबरें कुछ ऐसी भी आ रही है कि जेल में अय्यूब की बेहरहमी से पिटाई की गई।
लेकिन इस खबर की अभी पुष्टि नही हो पाई है।
45 वर्षीय अय्यूब के तीन बेटे और एक मासूम बच्ची है जो अब यतीम हो गए हैं।
एक बड़ा सवाल है कि अब इन यतीमो का पालन पोषण कौन करेगा।कौन चलाएगा इन यतीमो का घर?
ये मासूम बच्चे अब किसके सहारे अपनी जिंदगी काटेंगे?
क्या सरकार इन गरीबों पे रहेम खा कर इन्हें आर्थिक सहायता प्रदान करेगी?
अय्यूब की बेवा पत्नी को सरकार पालन पोषण के लिये सरकारी खजाने से कुछ रकम इनायत करेगी? ना मुमकिन है। इसलिए की लक्की कम्पाउंड हादसे में जिंदा दफन हुए सैकड़ों परिवार वालो को ज़ख्म पर मलहम लगाने भर का भी रकम नही मिला आज भी आस लगाए बैठे हैं तमाम यतीम बच्चे और उनके परिवार। जब की इस हादसे में मौके पर डिप्टी सीएम भी आये थे।
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